Sunehra Ehsaas
सुनहरा एहसास .....पल पल की ....धडकनों से गुजरती हुई स्याही तक का सफ़र ....
बुधवार, 29 अक्टूबर 2014
गुस्ताख़ याद
तुम्हारे साथ बिताये पल ही लागे मुझे रौशनी,
गुज़ारिश …
इन गुस्ताख़ यादों के कैद से आज़ाद न करना कभी॥
- निवेदिता दिनकर
तस्वीर
उर्वशी दिनकर
के सौजन्य से "अद्भुत रौशनी "
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